प्रयागराज के एसआरएन अस्पताल के हॉस्टल में नर्सिंग छात्रा ने खुदकुशी कर ली। कौशाम्बी की रहने जीएनएम प्रथम वर्ष की छात्रा ने फंदा लगाकर जान दी। खुदकुशी से पहले उसने सुसाइड नोट भी लिखा।
सुसाइड नोट में उसने लिखा कि कान और शरीर की खुजली की बीमारी से तंग आ चुकी हूं… भगवान ने बहुत दुख दिया है, इसलिए मौत को गले लगा रही हूं। छात्रा के चचेरे भाई अनुज सरोज ने खुजली का मजाक उड़ाने और ताने मारने के कारण खुदकुशी को मजबूर होने का आरोप लगाते हुए जांच की मांग की है।
कौशाम्बी के संदीपनघाट थानाक्षेत्र के फरीदपुर की प्रीति के खुदकुशी करने की बात सुबह 10:15 बजे पता लगी। वह नर्सिंग हॉस्टल में रहकर जीएनएम की पढ़ाई कर रही थी। कमरे में कुल छह छात्राएं रहती थीं। इनमें चार छात्राएं महाशिवरात्रि पर मंदिर चली गईं थीं। एक सहेली साथ थी। सहेली के मुताबिक, सुबह करीब 10 बजे प्रीति ने उससे कहा कि पूरे शरीर में खुजली की दवा लगानी है।
तुम थोड़ी देर के लिए बाहर चली जाओ। इस पर वह छत पर कपड़ा फैलाने चली गई। करीब 15 बाद लौटी तो दरवाजा अंदर से बंद था। आवाज लगाने पर भी दरवाजा नहीं खुला तो सहेलियों और हॉस्टल प्रबंधन को सूचना दी। सबके धक्का लगाने पर खुला तो प्रीति पंखे पर नायलॉन की रस्सी से लटकी हुई थी। यह देख सभी सन्न रहे गए। उसे फंदे से उतार एसआरएन ले गए, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
सूत्रों के मुताबिक, सुसाइड नोट में उसने लिखा है कि मैं डॉक्टर बनना चाहती थी। लेकिन, मेरा सपना अधूरा रह गया। मैं बहुत परेशान होकर सुसाइड करने जा रही हूं। कान की बीमारी से परेशान हूं… सुनने में तकलीफ होती है। पूरे शरीर में खुजली रहती है। इसे अब और नहीं झेल सकती। … मम्मी-पापा मुझे माफ कर देना। कोतवाली थाना प्रभारी रोहित तिवारी के मुताबिक, प्रीति के नोटबुक में आधे पेज का सुसाइड नोट मिला है। घटना के हर पहलू की जांच हो रही है। वहीं, नर्सिंग कॉलेज की प्रधानाचार्य जयकुमारी जायसवाल ने ताने मारने या मजाक उड़ाने जैसी सरोजा जानकारी से इंकार किया है। कहा, घटना की वह भी जांच करा रही हैं।