राजधानी लखनऊ में अपना दल एस के पदाधिकारियों की बैठक को संबोधित करते हुए पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष और प्राविधिक शिक्षा मंत्री आशीष पटेल ने कहा कि में 29 नवंबर को अस्पताल में भर्ती हुआ था, मेरी चार सर्जरी हुई हैं। अब हमें पार्टी के काम में जुट जाना है। हम महापुरुषों की जयंती और पुण्यतिथि पर कार्यक्रम करेंगे। पिछले कुछ दिनों से मैं ज्यादा खबरों में हूं। पूरी ताकत लगाई जाती के ना दिखूं लेकिन मेरा सकारात्मक हिस्सा छुपाया जाता है, नकारात्मक दिखाया जाता है। अब लड़ना है या डरना है, मैं सरदार पटेल का बेटा हूं, लडूंगा अब डरूंगा नहीं।
उन्होंने कहा कि मैं षड्यंत्रों से डरने वाला नहीं हूं। सीबीआई से जांच करवाएं। डरते क्यों हैं? अखबार में 17 सौ करोड़ का दुरुपयोग करके सूचना विभाग का दुरुपयोग करके मान मर्दन ना करें। ईंट का जवाब पत्थर से दूंगा, थप्पड़ खाकर चुप नहीं बैठूंगा। चौदह में से सात वंचित वर्ग के डायरेक्टर बनाया ये मेरी गलती है। पिछड़ों को मौका दिया है। ये मेरी गलती है और मैं ये करता रहूंगा। डरूंगा नहीं, डरा दीजिए जितना डराएंगे आप। आपके पास तंत्र है तो मेरे पास जनतंत्र है।
मेरी और मेरी पत्नी संपत्ति की जांच करा लें। एक धरना मास्टर है जिसे प्रायोजित किया जाता है और धरने पर बैठा दिया जाता है। एसटीएफ के किस अधिकारी ने दो लोगों को धरने पर बैठाने के लिए भेजा है पता कर लें। दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा। स्पेशल टास्क फोर्स वाले पैर पर गोली मारते हैं, हिम्मत है तो सीने पर गोली मारो।
आशीष पटेल ने कहा कि 69 हजार की भर्ती का विषय डरा कर नहीं बंद करा सकते। सबको पता है कि खेल कहां से हो रहा है। हमने बहुत दिन मंत्री पद ले लिया। धरना मास्टर के मोबाइल का कॉल रिकॉर्ड खुलवा लें। कहां से ऑपरेट हो रहीं सब सामने आ जाएगा। धरना मास्टर 69 हजार वाले मामले पर बैठेंगी? औकात नहीं है मार डंडा और थप्पड़ ठीक कर दी जाएंगी।
उन्होंने कहा कि मेरी सुरक्षा आप कार्यकर्ता करें। मैं आपके भरोसे हूं। 69 हजार भर्ती का विषय हम नहीं छोड़ेंगे। 2012 का चुनाव याद करिए, इतने बड़े आदमी से लड़ लिए तो आज क्या डर। मेरी तो मरी हुई कार्बाइन वाली सुरक्षा है।
आपके पास 17 सौ करोड़ रुपया है ना। मैं तो भिखारी आदमी हूं। आप मर्यादा लांघेंगे तो मैं भी मर्यादा भूल जाऊंगा। जो चैनल आपने इस्तेमाल किया वो चैनल गलत है, जाइए प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व को स्वीकार करिए, आपका इतिहास सबको पता है, जहां खाया वहीं छेद कर दिया। हमारी नेता की संपत्ति ले गईं, वो चुप हैं, छोटी बहन ने मुकदमा किया और आज तक केंद्रीय मंत्री की शिकायत पर कोई जांच नहीं हुई तो फिर क्यों धरना नहीं देंगी। जिस विधानसभा में सिर्फ विधायक जा सकता है वहां एसटीएफ किसे भेजते हैं। यूपी का एक महत्वपूर्ण व्यक्ति धरने से उठाने भी जाता है तो और कैसे दिखाएं कि ये सब प्रायोजित है । जितनी चाभी भरी राम ने उतना चला खिलौना।
आशीष पटेल ने कहा प्रधानमंत्री सिर्फ भाषण नहीं देते, केंद्रीय विद्यालय, नवोदय विद्यालय में, नीट की परीक्षा में, ओबीसी आयोग को दर्जा देने में उन्होंने हमेशा काम किया है। हम उनका हृदय से आभार व्यक्त करते हैं। खिलौनों से डरेंगे नहीं, लड़ेंगे और थप्पड़ का जवाब थप्पड़ से देंगे।